सक्ती 19 अगस्त 2023/ कलेक्टर श्रीमती नूपुर राशि पन्ना के कुशल मार्गदर्शन में स्वास्थ्य विभाग जिला सक्ती निरंतर स्वास्थ्य सुविधाओं के विस्तार में अग्रसर है। इसी कड़ी में टी बी मुक्त भारत अभियान के संचालन में श्रेष्ठ कार्य करने के लिए जिला सक्ती के स्वास्थ्य विभाग को राज्य स्तर पर सम्मानित किया गया है।
कलेक्टर श्रीमती पन्ना ने स्वास्थ्य विभाग सक्ती को बधाई देते हुए राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन छत्तीसगढ शासन से प्रदत्त प्रशस्ति
पत्र एवं पुरस्कार स्वास्थ्य विभाग को कलेक्ट्रेट कार्यालय के सभाकक्ष में प्रदान किया। स्वास्थ्य विभाग से मिली जानकारी अनुसार टीबी एक संक्रामक बीमारी है जो कि माइक्रो बैक्टेरियम ट्यूबरकुलोसीस नामक बैक्टेरिया से होता है। सदियों से इस बीमारी से इंसान ग्रसित होता रहा है। टीबी का जांच एवं उपचार शासकीय स्वास्थ्य केंद्र में नि:शुल्क उपलब्ध है। इसके अत्याधुनिक जांच हेतु ट्रू नाट मशीन स्वास्थ्य केंद्रों में उपलब्ध है। केंद्र सरकार द्वारा भारत को 2025 तक टीबी मुक्त बनाने के लक्ष्य पर निरंतर कार्य किया जा रहा है। जिसके प्रथम चरण में टीबी मुक्त पंचायत बनाया जाना है। ग्राम पंचायत के 1000 की जनसंख्या में कम से कम 30 संदेहास्पद टीबी मरीजों की जांच की जानी है। इन संदेहास्पद मरीजों में कोई भी टीबी के पॉजिटिव मरीज ना मिलने या मरीज मिलने के दशा में उनका पूरा कोर्स पक्का इलाज होने के दशा तथा टीबी मुक्त अभियान के अन्य निर्धारित मापदंड के अनुरूप पंचायतों को टीबी मुक्त किया जाना है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ सूरज सिंह राठौर ने बताया की टीबी बीमारी दो तरह की होती है पल्मोनरी तथा एक्स्ट्रा पल्मोनरी। टीबी बीमारी हेतु डायबिटीज , कुपोषण , एड्स, केंसर , बीड़ी सिगरेट सेवन , टीबी मरीजों के लगातार संपर्क ये सभी रिस्क फैक्टर होते है। टीबी का इलाज मुफ्त है। जिसमे सामान्य टीबी का इलाज 6 महीना का पूरा कोर्स है तथा ऐसे मरीज जो इलाज का कोर्स बीच में छोड़ देते है उन्हे ड्रग रसिस्टेंस टीबी होने का खतरा रहता है। ड्रग रेसिस्टेंस टीबी का इलाज मुश्किल हो जाता है । इसलिए टीबी के लक्षण दिखने पर तत्काल जांच कराए और नि:शुल्क इलाज नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में करावे। कलेक्टर श्रीमती नूपुर राशि पन्ना ने टीबी के मरीजों को पोषण आहार तथा सामाजिक सहयोग हेतु आमजनों से टीबी मरीजों हेतु निक्षय मित्र बनने के अपील की है। इस अवसर पर कलेक्टर कार्यालय सभाकक्ष में डीपीएम श्रीमती अर्चना तिवारी, जिला क्षय नियंत्रण अधिकारी गजेंद्र बहादुर सिंह, बीएमओ सक्ती डाक्टर नंद किशोर, बीएमओ जजैपुर डॉ ससिप्रभा बंजारे, टीबी सुपरवॉईजर विनोद राठौर तथा स्वास्थ्य विभाग के आर एच ओ, सी एच ओ आदि उपस्थित थे।